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Bihar Politics: टूट जाएगा INDIA गठबंधन Lalu और Tejasvi होंगे BJP के अगले साथी!

Bihar Politics: लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में सबसे ज्यादा परेशानी कांग्रेस पार्टी के सामने है. यहां सीट बंटवारे के बिना ही आरजेडी ने अब तक अपने 6 प्रत्याशियों को सिंबल दे दिया है और कुछ प्रत्याशियों का नाम भी राजद ने तय कर दिया है ऐसे में सवाल उठता है क्या इंडिया गठबंधन में ऑल इज वेल है? या फिर सीट शेयरिंग कांग्रेस और आरजेडी के बीच दीवार बन गया है. लालू प्रसाद (Lalu) और तेजस्वी (Tejasvi) यादव ने सारे किए धरे पर पानी क्यों फेर दिया? भाजपा (BJP) और जनता दल यू के खिलाफ विपक्ष की साझा लड़ाई को दोनों ने क्यों कमजोर किया? क्या ये दोनों भी वैसे ही किसी परोक्ष दबाव में हैं जैसे दबाव में बसपा की प्रमुख मायावती हैं? क्या टूट जाएगा इंडिया गठबंधन (INDIA ) और लालू-तेजस्वी होंगे भाजपा के अगले साथी!

सीट बंटवारा बना सहयोगियों के लिए दीवार

दोस्तों बिहार में लालू यादव और तेजस्वी यादव ने कांग्रेस का गठबंधन लगभग तोड़ दिया है। लालू प्रसाद ने उम्मीदवारों की एकतरफा घोषणा करके महागठबंधन को समाप्त किया है। नीतीश कुमार के महागठबंधन से अलग होकर भाजपा के साथ जाने के बाद से ही माना जा रहा था कि लोकसभा चुनाव में इस गठबंधन का कोई भविष्य नहीं बचा।

बिहार में लोकसभा की कुल 40 सीट हैं. कांग्रेस 10 सीट पर अपना दावा कर रही है. कांग्रेस किशनगंज , कटिहार, सुपौल, औरंगाबाद, बेगूसराय, सासाराम, बक्सर, पटनासाहिब, पूर्णिया, दरभंगा पर चुनाव लड़ने की तैयारी है, लेकिन राजद ने औरंगाबाद सीट पर अपने प्रत्याशी को सिंबल दे दिया है वहीं पूर्णिया सीट से बीमा भारती को चुनाव लड़ाने की तैयारी कर रहा है. बेगूसराय सीट पर भी अपने कैंडिडेट के नाम की घोषणा कर दी है. यही कारण है कि गठबंधन के घटक दलों में खटास बढ़ती जा रही है.

फिर भी राजद कांग्रेस और तीन लेफ्ट पार्टियों के बीच अगर ठीक से तालमेल होता और तीनों पार्टियां ढंग से चुनाव लड़तीं तो बिहार की आधी सीटों पर वह भाजपा और जदयू गठबंधन को कड़ी टक्कर दे सकती थीं। लेकिन लालू प्रसाद ने इस संभावना को भी खत्म कर दिया। उन्होंने लगभग उन सभी सीटों पर उम्मीदवार घोषित कर दिए है जिन्हे कांग्रेस मांग रही थी या जहां कांग्रेस के पास मजबूत उम्मीदवार थे।

लालू प्रसाद और तेजस्वी यादव ने बेगूसराय लोकसभा सीट कांग्रेस को नहीं दी। कांग्रेस चाहती थी कि कन्हैया कुमार उस सीट पर लड़ें। लेकिन बिना कांग्रेस से बात किए लालू प्रसाद ने सीपीआई को वह सीट दे दी और वहां से अवधेश राय उम्मीदवार हो गए। इसी तरह लालू प्रसाद ने पूर्णिया सीट पर जनता दल छोड़ कर आईं विधायक बीमा भारती को टिकट दे दिया है। पिछले दिनों इस इलाके के दिग्गज नेता और तीन बार सांसद रहे पप्पू यादव ने अपनी पार्टी का विलय कांग्रेस में किया था। कांग्रेस उनको पूर्णिया से उम्मीदवार बनाना चाहती थी। कांग्रेस में शामिल होने से एक दिन पहले पप्पू यादव ने पटना में लालू प्रसाद और तेजस्वी यादव दोनों से मुलाकात की थी। उन्होंने लालू प्रसाद को पितातुल्य और तेजस्वी को छोटा भाई बताया था।

लेकिन सब कुछ तय होने के बाद भी उनके साथ धोखा हो गया। लालू चाहते हैं कि पप्पू यादव पूर्णिया नहीं सुपौल या मधेपुरा से लड़ें। दूसरी ओर पप्पू यादव ने साफ कर दिया है कि वे पांच साल से पूर्णिया में काम कर रहे हैं और तीन बार वहां से सांसद रहे हं इसलिए वे सीट नहीं छोड़ेंगे। इसी तरह लालू प्रसाद ने औरंगाबाद सीट पर भी जदयू से लाए गए अभय कुशवाहा को उम्मीदवार बना दिया जबकि कांग्रेस अपने पूर्व सांसद और दिल्ली के पूर्व पुलिस कमिश्नर निखिल कुमार को चुनाव लड़ाना चाहती है। उन्होंने घोषित कर दिया है कि वे औरंगाबाद से चुनाव लड़ेंगे। ऐसे ही मीरा कुमार सासाराम नहीं लड़ना चाहती थीं वे अपने बेटे के लिए काराकाट सीट चाहती थीं जो लालू प्रसाद ने सीपीआई एमएल को दे दी।

बिहार में टूट जाएगा इंडिया गठबंधन?

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह पूर्वी चंपारण सीट से सांसद रहे हैं वे पूर्वी चंपारण या उसके बदले नवादा की सीट मांग रहे थे लेकिन लालू ने दोनों सीटों पर अपने कुशवाहा उम्मीदवार उतार दिए। लालू प्रसाद तारिक अनवर के लिए कटिहार सीट भी नहीं छोड़ना चाहते हैं। वे वहां से राज्यसभा के पूर्व सांसद अशफाक करीम को लड़ाना चाहते हैं। कांग्रेस ब्राह्मण उम्मीदवार के लिए बक्सर सीट मांग रही थी लेकिन लालू ने वहां अपना उम्मीदवार उतार दिया। कुल मिला कर लालू प्रसाद कांग्रेस की पारंपरिक सीटों की बजाय नई और अपेक्षाकृत ज्यादा कमजोर सीट दे रहे हैं।

इस पर कांग्रेस प्रवक्ता असितनाथ तिवारी का कहना है कि कांग्रेस पार्टी के लिए कार्यकर्ताओं का सम्मान सर्वोपरि है. कांग्रेस के कार्यकर्ताओं का सम्मान यदि आहत होगा तो कांग्रेस पार्टी झुक कर समझौता नहीं करेगी. असिनाथ तिवारी में गठबंधन के घटक दलों से अनुरोध किया कि एक तरफा फैसला ना लें. वही भाजपा प्रवक्ता कुंतल कृष्ण का कहना है कि लालू प्रसाद यादव से बड़ा राजनीतिक बेईमान बिहार में आज तक कोई नहीं हुआ. लालू प्रसाद यादव जिसके साथ रहते हैं उसी को ठगने का काम करते हैं वो बिहार में ठगबंधन के मुखिया हैं. बिहार कांग्रेस के साथ वह हमेशा से ऐसा करते आए हैं.

बिहार में इंडिया गठबंधन पर एक्सपर्ट का भी मानना है कि अब इन लोगों के लिए बहुत देरी हो गई है. बिहार में इंडिया गठबंधन की स्टेरिंग सीट पर राजद बैठी हुई है., चुनाव के पहले चरण की प्रक्रिया शुरू हो गई है और अभी तक गठबंधन में सीट का मामला फंसा हुआ है, जबकि एनडीए की तरफ से कहां से कौन प्रत्याशी होंगे सब कुछ तय कर लिया गया है. इंडिया गठबंधन में सिर फुटव्वल की स्थिति बनी हुई है और लालू प्रसाद पूरे परिवार के साथ दिल्ली में होली मनाने के लिए गए

दोस्तों एक तरह से बिहार में लालू प्रसाद ने एनडीए को वॉकओवर दे दिया। अभी कांग्रेस और राजद का गठबंधन जिस स्थिति में दिख रहा है उसे देखते हुए लग रहा है कि अगर सब कुछ ऐसा ही रहा तो महागठबंधन को एक भी सीट नहीं मिलेगी। पिछली बार जीती किशनगंज सीट भी कांग्रेस गवां सकती है। लालू प्रसाद ने ऐसी स्थिति बना दी है कि कांग्रेस अकेले लड़े। इसका फायदा भाजपा गठबंधन को होगा। चुनाव से पहले ही धारणा बदल जाएगी। हालांकि राष्ट्रीय जनता दल के नेता किसी दबाव की बात को खारिज कर रहे हैं और उसे साजिश थ्योरी करार दे रहे है। उनका कहना है कि इसके पीछे राजनीतिक कारण है।

फंस गई सीट शेयरिंग की डील?

राजनीतिक कारण यह है कि लालू प्रसाद और तेजस्वी दोनों मान रहे हैं कि यह चुनाव उनका नहीं है। वे मान रहे हैं कि लोकसभा चुनाव भाजपा जीतती है तो जीत जाए वे विधानसभा चुनाव के लिए तैयारी कर रहे हैं। वे नीतीश कुमार और भाजपा के समीकरण में सेंध लगा रहे हैं ताकि विधानसभा चुनाव में मुस्लिम और यादव के अलावा दूसरा वोट जुड़े।

दोस्तों इंडिया गठबंधन 2024 में केंद्र की सत्ता से बीजेपी को हटाने के लिए बना था और इस गठबंधन की शुरुआत बिहार से ही हुई थी लेकिन विडंबना देखिये कि सबसे पहले इसके सूत्रधार नीतीश कुमार फिर से बीजेपी के साथ चले गए. अब राजद और कांग्रेस के बीच में जो विवाद चल रहा है इससे साफ स्पष्ट है कि इस गठबंधन में सब कुछ सही नहीं है. अब देखना होगा कि दिल्ली में लालू यादव और कांग्रेस के शीर्ष नेता बैठकर क्या फैसला लेते हैं. आपकी इस पर क्या राय है हमे कमेन्ट कर जरूर बताएँ

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