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CM Nitish Kumar JDU Party Politics: Bihar में सरकार गिराने वाले BJP के दावों की हकीकत जानिए| RJD

Nitish Kumar JDU Party Politics: क्या बिहार में सरकार गिर जाएगी…? नीतीश कुमार भाजपा के साथ जाएंगे…? इन दिनों ऐसे कई सवाल आम और खास लोगों के बीच किए जा रहे हैं। कारण राजनीतिक बयानबाजी और बड़े नेताओं की गतिविधियां हैं। सरकार को लेकर बड़े बड़े राजनीतिक दावे किए जा रहे हैं। महाराष्ट्र में राजनीतिक उठापटक के बाद.. अब बिहार की हलचल तेज हो गई है सुशील मोदी हो या उपेंद्र कुशवाहा या फिर चिराग पासवान, सबके अपने-अपने दावे हैं

चारों तरफ Nitish Kumar ही छाए रहे

शनिवार को सीएम नीतीश कुमार ने राजगीर में आयोजित होने वाले ,,मलमास मेले का निरीक्षण किया। इसका आयोजन पर्यटन मंत्रालय द्वारा किया जाता है ,,जिसके मंत्री तेजस्वी यादव हैं। लेकिन, मेले में लगे एक भी बैनर-पोस्टर में तेजस्वी,, की तस्वीर नहीं दिखी। चारों तरफ नीतीश कुमार ही छाए रहे।,, इस चर्चा ने जोर पकड़ लिया कि ,,कहीं नीतीश और तेजस्वी में खटपट तो नहीं चल रही। ,,बिहार सरकार चला रहे महागठबंधन में कुछ गड़बड़ तो नहीं है।

सांसद-विधायक इसे चुनाव की तैयारी बता रहे

दोस्तों बिहार में राजनीतिक हलचल तब तेज हो गई, जब सीएम नीतीश कुमार JDU के विधायकों और सांसदों से ,,वन टू वन मुलाकात करने लगे।,, इस घटनाक्रम के बाद सरकार में टूट की चर्चा तेज हो गई। विधायकों और सांसदों से,, सीएम नीतीश कुमार की मुलाकात के ,,कई पॉलिटिकल मायने निकाले जा रहे हैं।,, हालांकि पार्टी के सांसद-विधायक इसे चुनाव की तैयारी बता रहे हैं।,,JDU में टूट के दावे को लेकर पॉलिटिकल एक्सपर्ट ,, बताते हैं,,कि गठजोड़ के बाद,, जेडीयू पर कई सवाल खड़े किए गए हैं। जेडीयू के लोग खुद को असहज महसूस कर रहे हैं। एक बड़ी वजह ये भी है कि नीतीश कुमार ने,, 2025 में तेजस्वी को विरासत सौपने की भी बात कही थी। ,,इससे भी जेडीयू के लोगों में अंदर ही अंदर नाराजगी है।

RJD और JDU में आपसी खींचतान का मामला

बिहार में राजनीतिक हलचल के पीछे महाराष्ट्र का बड़ा परिवर्तन है।,, राजनेताओं के लिए सत्ता सब कुछ है। बिहार में बदलाव कोई आश्चर्य की बात नहीं है।,, पहले भी ऐसा हो चुका है। सत्ता सुख के लिए,, कुछ भी और कोई भी बड़ा ,,राजनीतिक घटनाक्रम ,,हो सकता है।,,बिहार सरकार में कई मुद्दों पर,, अंतर्कलह दिख रही है। RJD और JDU में आपसी खींचतान का मामला,, ट्रांसफर पोस्टिंग में साफ झलक रहा है। ,,अफसरों के साथ मंत्रियों का विवाद,, भी इसी कड़ी का एक हिस्सा बताया जा रहा है।,, स्वास्थ्य विभाग में ट्रांसफर के आदेश को 24 घंटे में बदल दिया गया और ,,एक मंत्री का सचिव से टकरा जाना,,। यह सरकार में ,,सब कुछ ठीक चलने का संकेत नहीं है।,,

भाजपा नेता RJD और JDU के नेताओं के संपर्क में

भाजपा को,, सरकार में चल रहे इस खेल से ,,ही मौका मिल गया और वह बयानों से सरकार पर दबाव बनाने लगी। ,,इसी बीच महाराष्ट्र में सरकार के उलट फेर ने ,,बीजेपी के बयानों को मजबूत कर दिया। ,,अब तो भाजपा नेता RJD और JDU के नेताओं के संपर्क में होने ,,का दावा करते हुए,, सरकार में टूट की बात कर रहे हैं।,,दोस्तों नीतीश कुमार अजीब संकट की स्थिति में हैं। ने तृत्व से लेकर कई तरह के संकट हैं। नीतीश कुमार ऐसे,, संकटों से घिर गए हैं। वह जिस तेजी के साथ,, विपक्षी एकता को लेकर चल रहे थे,,, वह भी टूटती सी दिख रही है।

JDU के नेताओं के सामने संकट

कुल मिलाकर स्थितियां डामाडोल बनी हुई हैं। अब नीतीश कुमार के सामने कोई चारा नहीं है, तेजस्वी के साथ RJD पर ही ,,उन्हें भरोसे के साथ चलना होगा।,, हालांकि कुछ फैक्ट हैं जो टूट की संभावना बढ़ा रहे हैं। ,,पॉलिटिकल एक्सपर्ट मानते हैं कि,,, बिहार में महाराष्ट्र की तरह भगदड़ हो सकती है।,, नेतृत्व को लेकर JDU में बड़ा सवाल है। JDU को भाजपा तोड़ सकती है, इसके बाद वह सरकार बना सकती है। जिस तरह से महाराष्ट्र में टूट हुई है, यह बिहार में भी दोहराया जा सकता है ,,,भाजपा इसके लिए काम भी कर रही होगी, ,,नेताओं के बयान भी इस बात की पुष्टि कर रहे हैं। ,,नीतीश कुमार ने उत्तराधिकारी घोषित करने के बाद ,,अब जेडीयू के नेताओं के सामने संकट हैं कि ,,उनका नेता कौन होगा। ऐसे सवाल से पार्टी के सीनियर लीडर परेशान हैं।,, ऐसे में नेता पार्टी तोड़ सकते हैं ,,या छोड़ सकते हैं। भाजपा नेताओं के बयान में ऐसे संकेत भी मिल रहे हैं।,,

आरजेडी और जेडीयू के बीच अंदरूनी कलह चल रही

सरकार और ब्यूरोक्रेट्स का द्वंद भी,, सब कुछ सामान्य नहीं होने ,,का संकेत दे रहा है। शिक्षा मंत्री डॉ. चंद्रशेखर और अपर मुख्य सचिव के के पाठक के बीच ,,हुए विवाद को भी ,,सरकार के दो फाड़ होने का संकेत दे रहा है। ,,शिक्षा विभाग में हुए विवाद को देख आम लोगों को भी लग रहा है कि,, सरकार में आपसी तालमेल की कमी हो गई है। ,,ऐसे सवालों को MLC सुनील सिंह ने और पक्का कर दिया है।..सुनील सिंह ने कहा कि,, के के पाठक को जानबूझ कर शिक्षा विभाग में लाया गया है।,, इशारा नीतीश कुमार की तरफ है। ऐसे में यह साफ है कि आरजेडी और जेडीयू के बीच अंदरूनी कलह चल रही है,,, इस कारण से बड़े नेताओं के बयान भी ऐसे ही आ रहे हैं

सुनील सिंह ने ट्वीट में कई पदाधिकारियों की डाकू से तुलना की

भाजपा के प्रवक्ता निखिल आनंद का कहना है कि ..शिक्षा मंत्री ने ट्रांसफर पोस्टिंग की सूची बना रखी थी। ,,इस सूची से ही कमाई होनी थी,,, लेकिन के के पाठक ने उनकी मंशा पर पानी फेर दिया, जिससे विवाद हो गया। ,,RJD MLC सुनील कुमार सिंह,, लालू परिवार के काफी करीबी माने जाते हैं।,, वह हर सुख दुख में लालू परिवार के साथ,, खड़े रहने के साथ राबड़ी के मुंहबोले भाई भी हैं।,, मौजूदा राजनीतिक हालात पर उनकी बयानबाजी भी,, सरकार में कलह का संकेत दे रही है।,, शिक्षा मंत्री और अपर मुख्य सचिव के,, विवाद के बाद सुनील सिंह लगातार विवादित बयान दे रहे हैं।,,के के पाठक की पोस्टिंग को भी उन्होंने विवाद बढ़ाने के लिए बताया था।,, अब वह सोशल मीडिया पर पोस्ट से मौजूदा सरकार में ,,कलह का संकेत दे रहे हैं। सुनील सिंह ने ट्वीट में कई पदाधिकारियों की डाकू से तुलना की है।

नीतीश के लिए भाजपा के दरवाजे हमेशा के लिए बंद

दोस्तों अपैल महीने में बिहार रामनवमी के बाद हुई हिंसा,, की आग में जल रहा था। इसी बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का बिहार दौरा हुआ। वह नवादा में आयोजित राजनीतिक सभा में 21 मिनट के भाषण के दौरान ,,बिहार की मौजूदा सरकार पर हमला करते रहे। ,,अमित शाह ने यह भी साफ कर दिया था कि नीतीश के लिए भाजपा के दरवाजे हमेशा हमेशा के लिए बंद हो गए हैं।,,अमित शाह ने उसी समय संकेत दे दिया था कि लोकसभा चुनाव के बाद राज्य की गठबंधन सरकार गिर जाएगी।

क्या भाजपा JDU में सेंध लगाकार सरकार बनाने की तैयारी में

दोस्तों अब सवाल यह है कि अगर नीतीश के लिए भाजपा के दरवाजे बंद हैं ,,तो क्या भाजपा JDU में सेंध लगाकार सरकार बनाने की तैयारी में है। क्योंकि नीतीश के लिए भाजपा का दरवाजा बंद होने की बात कई नेता कर चुके हैं,लेकिन वह ये भी कह रहे हैं कि JDU के कई नेता उनके संपर्क में हैं।
दोस्तों आपको क्या लगता है ,,महाराष्ट्र की आग बिहार तक पहुँच पाएगी क्या लालू-तेजस्वी के ख़िलाफ़ चार्जशीट का मक़सद महागठबंधन को तोड़ना है? क्या झारखंड, राजस्थान, उत्तरप्रदेश, दिल्ली की बारी भी जल्दी ही आने वाली है? क्या ऑपरेशन दलदल के लिए ईडी, सीबीआई, इनकम टैक्स आदि एजंसियों ने इसके लिए ज़मीन तैयार कर दी है?,, अपनी राय कमेन्ट कर जरूर बताएँ

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